राज्यपाल ने नेत्र रोग जागरूकता गोष्ठी एवं मोतियाबिंद ऑपरेशन सप्ताह के उद्घाटन कार्यक्रम में किया प्रतिभाग

देहरादून : राज्यपाल लेफ्टिनेंट जनरल गुरमीत सिंह (से नि) ने मंगलवार को राजभवन में हेमवती नंदन बहुगुणा उत्तराखण्ड चिकित्सा शिक्षा विश्वविद्यालय द्वारा आयोजित ‘‘नेत्र रोग जागरूकता गोष्ठी एवं मोतियाबिंद ऑपरेशन सप्ताह’’ के उद्घाटन कार्यक्रम में प्रतिभाग किया। राज्यपाल की प्रेरणा और मार्गदर्शन में 25 दिसंबर से 31 दिसंबर तक प्रदेश की 15 चिकित्सा इकाईयों में निःशुल्क नेत्र रोग परीक्षण और मोतियाबिंद ऑपरेशन कैंप आयोजित किए जा रहे हैं। इन शिविरों में आंखों की जांच, परामर्श, और मोतियाबिंद ऑपरेशन निःशुल्क किए जाएंगे। पूर्व सैनिकों और उनके आश्रितों के लिए मिलिट्री हॉस्पिटल देहरादून में आर्मी हॉस्पिटल दिल्ली के प्रसिद्ध सर्जन ब्रिगेडियर संजय मिश्रा द्वारा मोतियाबिंद के ऑपरेशन व परामर्श दिया जाएगा।

पूर्व प्रधानमंत्री भारत रत्न अटल बिहारी वाजपेयी की जयंती के पूर्व दिवस पर आयोजित गोष्ठी के अवसर पर राज्यपाल ने कहा कि आंखें ईश्वर का सबसे अनमोल उपहार हैं, जिनकी देखभाल करना हमारा कर्तव्य है। उन्होंने कहा कि आज की आधुनिक जीवनशैली, मोबाइल, टीवी और डिजिटल उपकरणों के अत्यधिक उपयोग के कारण आंखों पर दबाव और बीमारियों का खतरा बढ़ गया है। उन्होंने कहा कि बढ़ती उम्र के साथ नेत्र रोगों, विशेष रूप से मोतियाबिंद, की चुनौतियों का सामना करना आम बात है। ऐसे में यह अभियान समाज के सभी वर्गों, विशेष रूप से ग्रामीण क्षेत्रों और वंचित समुदायों के लिए नेत्र स्वास्थ्य और उपचार का अवसर प्रदान करेगा।

राज्यपाल ने इस कार्यक्रम को एक महत्वपूर्ण जनसेवा अभियान बताते हुए कहा कि यह पहल न केवल नेत्र रोगों के उपचार में मदद करेगी, बल्कि जागरूकता बढ़ाने में भी सहायक सिद्ध होगी। उन्होंने सभी स्वास्थ्य संस्थानों के प्रयासों की सराहना की और लोगों से इन कैंपों का अधिक से अधिक लाभ उठाने की अपील की।

इस गोष्ठी में एम्स ऋषिकेश के नेत्र विभाग के प्रमुख प्रो. संजीव कुमार मित्तल, दून मेडिकल कॉलेज में नेत्र रोग विभाग की प्रमुख प्रो. शांति पांडे और आर्मी हॉस्पिटल दिल्ली में नेत्र सर्जन ब्रिगेडियर संजय मिश्रा ने नेत्र रोग से संबंधित विभिन्न उपयोगी जानकारियां और नेत्र रोग से बचाव के उपायों पर अपने विचार प्रस्तुत किए। उन्होंने मोतियाबिंद और अन्य नेत्र विकारों से बचाव के लिए जीवनशैली सुधार और समय पर इलाज पर प्रकाश डाला।

पूर्व सैनिकों एवं उनके आश्रितों के लिए यह कैंप मिलिट्री हॉस्पिटल (एम. एच.) देहरादून में आयोजित होगा। वहीं अन्य जनसामान्य के लिए राजकीय दून मेडिकल कॉलेज देहरादून, वीर चन्द्र सिंह गढ़वाली राजकीय आयुर्विज्ञान एवं शोध संस्थान श्रीनगर गढ़वाल, गांधी शताब्दी नेत्र चिकित्सालय देहरादून, अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान ऋषिकेश, राजकीय मेडिकल कॉलेज हल्द्वानी, सोबन सिंह जीना राजकीय आयुर्विज्ञान एवं शोध संस्थान अल्मोड़ा, राजकीय मेडिकल कॉलेज हरिद्वार, हंस नेत्रालय हरिद्वार, विवेकानन्द नेत्रालय चेरेटेबल आई हॉस्पिटल राजपुर रोड़ देहरादून, निर्मल आश्रम आई इंस्टीट्यूट ऋषिकेश, हंस फाउंडेशन आई हॉस्पिटल कोटद्वार, हिमालयन इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेज जौलीग्रांट देहरादून, श्री महन्त इन्दिरेश हॉस्पिटल श्री गुरु रामराय विश्वविद्यालय देहरादून एवं रास बिहारी बोस विश्वविद्यालय देहरादून में आयोजित होगा।

इस अवसर पर स्वास्थ्य मंत्री डॉ. धन सिंह रावत, सचिव राज्यपाल रविनाथ रामन, निदेशक एम्स ऋषिकेश प्रो. मीनू सिंह, कुलपति एच.एन.बी. उत्तराखण्ड चिकित्सा शिक्षा विश्वविद्यालय प्रो. एम.एल.बी भट्ट, जीओसी सब एरिया देहरादून मेजर जनरल आर. प्रेमराज  रजिस्ट्रार एच.एन.बी. उत्तराखण्ड चिकित्सा शिक्षा विश्वविद्यालय डॉ. आशीष उनियाल एवं सहित कई पूर्व सैनिक, विभिन्न कॉलेजों की छात्राएं और अन्य लोग उपस्थित रहे।

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